उत्तराखण्ड
हल्द्वानी में नौवीं की छात्रा कम नंबर आने से नाराज़ होकर फंदे में लटक गई ,असफल होने में बच्चे क्यों उठा रहे हैं गलत कदम : इसके पीछे का असली कारण क्या है ?
Uttrakhand – जिंदगी में सफलता और असफलता जीवन की कुंजी है और जीवन में हार जीवन को बेहतर बनाने के लिए आती है लेकिन कुछ लोग छोटी सी असफलता से हार जाते हैं ऐसा ही नया मामला आया है नौवीं की परीक्षा में अंक कम आने पर हल्द्वानी की एक छात्रा ने गलत कदम उठा लिया उसने फांसी लगाकर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली
परीक्षाफल मिलने के बाद नौवीं कक्षा की छात्रा ने फांसी लगा ली। उसका शव दरवाजे के पास ग्रिल पर लटका मिला। परिजन अस्पताल लेकर पहुंचे। डाक्टर ने मृत घोषित कर दिया।
काठगोदाम क्षेत्र के जवाहर ज्योति दमुवाढूंगा निवासी रघुनंदन होमगार्ड हैं। पुलिस के अनुसार उनकी 15 वर्षीय बेटी शगुन कक्षा नौवीं की छात्रा थी। शनिवार को उसका परीक्षाफल घोषित हुआ था। कुछ विषय में ग्रेड कम थे। दिन में रघुनंदन बेटी के साथ रिजल्ट और 10वीं का कोर्स लेकर वापस घर लौटे थे।
ग्रेड कम होने पर उन्होंने बेटी से पढ़ाई में मेहनत करने को कहा। इसके बाद शनिवार को रात्रि ड्यूटी के लिए चले गए। रात करीब ढाई बजे रघुनंदन की पत्नी ने उन्हें फोन कर बताया कि शगुन ने फांसी लगा ली है। आननफानन में घर पहुंचे। बेटी दरवाजे के ऊपर ग्रिल से बंधे दुपट्टे के फंदे से लटकी थी।
ऐसी घटनाएं लगातार बढ़ती जा रही हैं माता-पिता को अपने बच्चों पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है ताकि बच्चे गलत कदम ना उठाएं अगर वह असफल भी होते हैं तो माता-पिता को उन पर दबाव नहीं डालना चाहिए ..
आजकल बच्चों को बचपन से ही मजबूत बनाना होगा ताकि असफलता मिलने पर भी उनको जीवन बेहतर लगे ।।