उत्तराखण्ड
भीड़ के बीच मम्मी, पापा को खोज रही घायल शिवानी, पर उसे क्या पता कि वे अब लौट कर कभी नही आएंगे36 घरों के बुझे चिराग, किसी का सहारा छूटा, किसी के कलेजे का टुकड़ा टूटा
अल्मोड़ा जिले के इतिहास में आज का दिन बहुत दूर्भाग्यपूर्ण साबित हुआ l दीपावली पर्व की विदाई बेला पर सल्ट के मरचुला से आई दिल दहला देने वाली खबर से हर कोई स्तब्ध और दुखी है, हर तरफ मातम छाया है l इस हादसे ने अब तक मिली सूचना के अनुसार 36 घरों के दीपक बुझा दिए, किसी के सिर से माता पिता का साया चला गया तो किसी मां के कलेजे का टुकड़ा टूट गया, किसी बुजुर्ग का सहारा छूट गया तो किसी का सुहाग उजड़ गया l
कई ऐसे भी थे जो दीपावली में हंसी खुशी अपने घरों को रोशन करने के बाद लौट रहे थे उन्हें क्या पता था कि वो अपने प्रियजनों के जीवन में ऐसा अंधेरा कर गए हैं जो उन्हें अंतिम सांस तक सालता रहेगा l हादसे के बाद से रोती बिलखती तीन साल की शिवानी… हादसे में अपने माता पिता को खो चुकी है.. उसे क्या पता कि उसके रोने चिल्लाने से ना मम्मी आएगी ना पापा…!
बताया गया है कि वह खुद भी घायल है.. सर पर टांके आए हैं…पसली टूट गई है . वो दर्द से रो रही है.. पर उससे भी ज्यादा वो अपनी मम्मी के वियोग में तड़फ रही है l इस मासूम को क्या पता कि उसके मम्मी व पापा का साया उसके सिर से उठ चुका है उसकी आंखें तो बस चीख दहाड के बीच मम्मी, पापा को खोजती रही हैं l वह मासूम जब थोड़ा भी बीमार पड़ती होगी तो उसकी मम्मी तुरंत उसेअपनी गोद में सुलाती होगी..बेचारी शिवानी आज दोहरे जख्म से जूझ रही है. यह विधाता की कैसी विडंबना है कि जब बच्ची को अपने माता पिता की सबसे ज्यादा जरूरत थी तब वे उसके पास नही हैं l वह रोती, बिलखती, दर्द से कराहती मम्मी, पापा की बाट जोह रही है, रो रही है…मम्मी मम्मी चिल्ला रही है l
हे परमात्मा ऐसा दिन किसी के भी जीवन में न आए l
सहयोग प्रत्यक्ष दर्शी दीपक पहाड़ी