देवभूमि दंगल
चमगादड़ टापू वाहन पार्किंग का ठेका निरस्त होने के बाद भी काटी जा रही पर्चीगहरी नींद में सोए सिंचाई विभाग के अधिकारी
हरिद्वार। गजब है सिंचाई विभाग के अधिकारी, जो चैन की नींद सो गए हैं। अब चमगादड़ पार्किंग का ठेका निरस्त होने के बाद कौन सिंचाई विभाग के अधिकारियों का चहिता वाहनों की पर्ची काट रहा है। मंगलवार को चमगादड़ टापू पार्किंग में कई वाहनों की पर्ची काटी गई है। जिससे सिंचाई विभाग की घोर लापरवाही उजागर हो रही है। कांवड़ मेला से पहले ही सरकारी पैसों की बंदरबांट करने में सिंचाई विभाग ने बाजी मार ली है। कुछ दिन पूर्व चमगादड़ टापू पार्किंग का सिंचाई विभाग ने गुपचुप तरीके से 11 लाख में ठेका कर दिया था। मामले का खुलासा तब हुआ, जब कनखल के एक भाजपा नेता ने पार्किंग का ठेका 19 लाख में लेने की बात कही। कम दामों पर देने का आरोप लगा है। जानकारी के मुताबिक कनखल के भाजपा नेता भूपेंद्र कुमार ने 19 लाख और कनखल सतीघाट के प्रदीप कुमार ने 18 लाख रूपए में सिंचाई विभाग की ओर से चमगादड़ टापू की पार्किंग ठेका लेने की इच्छा जताई थी। जिसमें उन्होंने जिलाधिकारी को भी पत्र लिखा था। सिंचाई विभाग ने चमगादड़ टापू पार्किंग 11 लाख में गुपचुप तरीके से छोड़े जाने के बाद से विभागीय अधिकारियों की ठेकेदार से मिलीभगत की चर्चा चल रही थी। जिसके बाद जिलाधिकारी ने एसडीएम को मामले की जांच सौंपी थी। जांच में साफतौर पर ठेकेदार को पार्किंग ठेका का लाभ देने का कार्य विभागीय अधिकारियों की ओर से किया गया है। पार्किंग ठेका लेने के इच्छुक व्यक्ति ने भी विभाग की ठेका प्रक्रिया पर सवाल खडे़ करते हुए चमगादड़ टापू की पार्किंग ठेका निरस्त कर खुली बोली प्रक्रिया अपनाने की डीएम से अपील की थी, लेकिन जिले के आलाधिकारी इस ओर आँखे मूंदे बैठे हैं। मंगलवार को भी चमगादड़ टापू पार्किंग में कई वाहनों की पर्ची काटी गई है। जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने बताया कि चमगादड़ टापू पार्किंग का ठेका निरस्त होने के बाद कट रही पर्ची की शिकायत संज्ञान में है। अधिकारियों को आवश्यक कार्रवाई के लिए निर्देशित कर दिया गया है।