उत्तराखण्ड
उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की के बीच महत्वपूर्ण समझौता
उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की के बीच आज एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर किए गए। यह साझेदारी राज्य में उच्च शिक्षा, अनुसंधान और तकनीकी नवाचार को नई दिशा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है।
कार्यक्रम में उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय की ओर से प्रो. गिरजा पांडे ने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की के निदेशक प्रो. कमल किशोर पंत का औपचारिक स्वागत किया।
अपने संबोधन में प्रो. गिरजा पांडे ने बताया कि यह MOU दोनों संस्थानों के बीच पाठ्यक्रम विकास, शोध-अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा देगा। इसके माध्यम से नए अनुसंधान के अवसर खुलेंगे तथा UOU के छात्र एवं शोधार्थी इससे सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की के निदेशक प्रो. कमल किशोर पंत ने कहा कि कृषि एवं खाद्य उत्पादों से संबंधित तकनीक, जैविक नवाचारों तथा डेटा-सेंसर आधारित तकनीकों को किसानों तक पहुंचाने के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि पहाड़ी क्षेत्रों में लगातार हो रही भूस्खलन की घटनाओं का समाधान सेंसर आधारित तकनीक से खोजा जा सकता है, जिस पर भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की कार्य कर रहा है।
प्रो. पंत ने बताया कि संस्थान स्वदेशी तकनीक विकास, तथा छात्रों के लिए ऑनलाइन एवं हाइब्रिड प्रशिक्षण को और अधिक प्रोत्साहित करेगा।
उन्होंने उत्तराखण्ड के दूरस्थ क्षेत्रों की महिलाओं के लिए तकनीकी शिक्षा और स्वरोजगार को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर भी जोर दिया। इस दिशा में उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय की भूमिका को अत्यंत महत्वपूर्ण बताया गया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नवीन चन्द्र लोहनी ने बताया कि विश्वविद्यालय भविष्य में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) रुड़की की तर्ज पर एजुकेशनल मल्टीमीडिया रिसर्च सेंटर (ई. ऍम. आर. सी) स्थापित करने की योजना पर गंभीरता से कार्य कर रहा है।
उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय के शिक्षकों द्वारा विकसित ऑनलाइन पाठ्यक्रमों का लाभ प्रदेश ही नहीं बल्कि विदेशों के विद्यार्थी भी ले रहे हैं।
कार्यक्रम का संचालन प्रो. आशुतोष भट्ट ने किया, जबकि धन्यवाद ज्ञापन कुलसचिव डॉ. खेमराज द्वारा प्रस्तुत किया गया।
इस अवसर पर प्रो. जीतेंद्र पांडे, प्रो. राकेश रयाल, प्रो. रेनू प्रकाश, प्रो. पी. डी. पंत, डॉ. बालम दफौटी सहित विश्वविद्यालय के कई अन्य शिक्षक एवं अधिकारी उपस्थित रहे।







