Connect with us

आखिर केंद्र ने टम्टा में ऐसी कौन सी खूबी देखी जिस कारण अजय टम्टा को भी बनाया मंत्री ? जानें उनके जीवन से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण बातें ।।

अल्मोड़ा

आखिर केंद्र ने टम्टा में ऐसी कौन सी खूबी देखी जिस कारण अजय टम्टा को भी बनाया मंत्री ? जानें उनके जीवन से जुड़ी कुछ महत्वपूर्ण बातें ।।

अजय टम्टा को मंत्री बनाने का बड़ा कारण !

पीएम मोदी कैबिनेट में उत्तराखंड से एक मंत्री बनाए गए हैं। इस बार मोदी मंत्रिमंडल में उत्तराखंड से दलित समाज के प्रतिनिधित्व को जगह मिली है। अल्मोड़ा सांसद अजय टम्टा को दोबारा मंत्री बनाया गया है।अल्मोड़ा-पिथौरागढ़ संसदीय सीट से सांसद अजय टम्टा एक बार फिर छिपे रुस्तम साबित हुए। हम ऐसा इस लिए कह रहे हैं क्योंकि जहां मंत्री बनाए जाने के लिए कई नाम सुर्खियों में थे वहीं अजय टम्टा की कोई चर्चा नहीं थी, दरअसल, ऐसे चार कारण हैं जिनकी वजह से टम्टा, कई बड़े चेहरों और दावेदारों को पीछे छोड़ते हुए मंत्री पद की दौड़ में बाजी मार गए।

अजय टम्टा के लिए यह रही मंत्री बनने की राह

(1 ) .उत्तराखंड से केंद्रीय मंत्रिमंडलमें दलित को प्रतिनिधत्व अजय टम्टा को केंद्रीय मंत्रिमंडल में जगह देकर भाजपा हाईकमान ने जातीय समीकरणों को साधाने की कोशिश की है। देश में भाजपा हर हाल में दलित, पिछड़ा वर्ग के वोट बैंक को अपने साथ जोड़े रखना चाहती है।इसका बड़ा कारण यह है कि इस लोकसभा चुनाव में कांग्रेस समेत पूरे विपक्ष ने संविधान और आरक्षण के मुद्दों को लेकर भाजपा पर निशाना साधा था। ऐसे में टम्टा को मंत्री बनाकर भाजपा ने अपनी ‘मंशा’ का संदेश देने का पूरी कोशिश की है।

दूसरा बड़ा कारण अजय टम्टा की जीत की हैट्रिक और मतों का लगातार बढ़ता अंतर है, आम चुनाव में लगातार तीसरी बार जीत दर्ज करने वाले अजय टम्टा, इस बार उत्तराखंड के पांचों सांसदों में ऐसे अकेले सांसद हैं जिनकी जीत का अंतर पिछली बार की जीत से बढ़ा है। इसके विपरीत अन्य सांसदों की जीत का अंतर इस बार कम हुआ है।।

इसका एक बड़ा कारण यह भी है कि मुख्यमंत्री धामी से टम्टा के अच्छे सम्बन्ध हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से अजय टम्टा की नजदीकियां किसी से छिपी नहीं हैं। साथ ही राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ में भी उनकी पकड़ मजबूत मानी जाती है। मुख्यमंत्री धामी ने लोकसभा चुनाव के दौरान टम्टा की जीत के लिए पूरी ताकत झोंक दी थी।

क्या रहा अजय टम्टा का राजनीतिक सफ़र

अल्मोड़ा संसदीय सीट से सांसद केंद्र में राज्य मंत्री बन तो गए लेकिन इनके जीवन से जुड़ी हुई कुछ बातें जानते हैं, 52 वर्षीय अजय टम्टा ने 23 साल की उम्र में अपने सियासी सफर की शुरुआत की थी। वर्ष 1996 में जिला पंचायत सदस्य के रूप में उनकी राजनीतिक यात्रा की शुरुआत हुई। इसी वर्ष वह जिला पंचायत उपाध्यक्ष भी चुने गए। वर्ष 1999 से 2000 तक जिला पंचायत अध्यक्ष रहे और तब उन्होंने सबसे कम उम्र का जिपं अध्यक्ष बनने का रिकार्ड भी बनाया। 2007 में भाजपा के टिकट पर सोमेश्वर सीट से विधानसभा का चुनाव लड़ा और जीत गए । फिर साल 2009 में पहली बार लोकसभा चुनाव लड़ा लेकिन जीत हासिल करने से चूक गए थे । 2012 में सोमेश्वर से भाजपा प्रत्याशी के रूप में चुनाव जीतकर फिर दुबारा विधानसभा पहुंचे। पार्टी ने वर्ष 2014 में उन्हें लोकसभा चुनाव के लिए मैदान में उतारा और जीत दर्ज करने के बाद उन्हें केंद्रीय कपड़ा राज्य मंत्री बनाया गया ।

टम्टा 2019 के लोकसभा चुनाव में रिकार्ड मतों से लगातार दूसरी जीत दर्ज कर दिल्ली पहुंचे। इस बार भी चुनाव परिणाम उनके और पार्टी के पक्ष में आए। इस सीट पर जीत की हैट्रिक लगाने वाले अजय को केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल कर राज्य मंत्री बनाया गया है। केसी पंत, एनडी तिवारी, हरीश रावत, बची सिंह रावत, अजय भट्ट के बाद वह केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल होने वाले छठे सांसद हैं। कुल मिलाकर यह कह सकते हैं कि जिला पंचायत से मंत्री तक का सफर टम्टा के लिए बहुत रोचक रहा है ।।

Ad Ad

More in अल्मोड़ा

Trending News

धर्म-संस्कृति

राशिफल अक्टूबर 2024

About

प्रतिपक्ष संवाद उत्तराखंड तथा देश-विदेश की ताज़ा ख़बरों का एक डिजिटल माध्यम है। अपने क्षेत्र की ख़बरों को प्रसारित करने हेतु हमसे संपर्क करें  – [email protected]

Editor

Editor: Vinod Joshi
Mobile: +91 86306 17236
Email: [email protected]

You cannot copy content of this page